राम मंदिर के निर्माण के लिए पैसा भक्तों और लोगों के योगदान से आया है। राम मंदिर के निर्माण के लिए देशभर और विदेशों से लोगों ने योगदान किया है। यह एक बड़े धार्मिक और सांस्कृतिक उत्सव के रूप में देखा जा रहा है।
भारत सरकार ने भी इस मंदिर के निर्माण के लिए योजना बनाई और योगदान किया है। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के अनुसार, राम मंदिर निर्माण अनुष्ठान के लिए एक स्थायी मंदिर निर्माण समिति बनाई गई थी जिसमें सरकारी और गैर-सरकारी विमुक्त पर्यायों से धन जुटाया गया।
राम मंदिर निर्माण से जुड़े योगदानों का सबसे बड़ा हिस्सा जनसामान्य से आया है, जो अपनी श्रद्धांजलि और योगदान के माध्यम से इस महत्वपूर्ण कार्य को समर्थन कर रहे हैं। इससे आए धन का पूरा वितरण मंदिर निर्माण के लिए हुआ है जिससे संपूर्ण प्रक्रिया सुचारू रूप से संचालित हो पा रही है।
राम मंदिर के निर्माण के लिए आए योगदान का मुख्य स्रोत भक्तों का स्वयंसेवा और योगदान है, जिसमें विभिन्न स्तरों पर लोगों ने धन योगदान किया है। यह स्वयंसेवा और योगदान भक्तों की श्रद्धांजलि और समर्पण का प्रतीक है और इसमें भारतीय समाज के विभिन्न वर्गों और समृद्धि स्तरों से लोगों ने योगदान किया है।
राम मंदिर निर्माण समिति के अध्यक्ष श्री नृपेंद्र मिश्र ने कहा है कि निर्माण के लिए जुटाए गए धन का आंकलन सटीकता से नहीं किया जा सकता है, क्योंकि लाखों लोगों ने योगदान किया है और इसकी संख्या में बदलाव होता रहता है।